श्रीराम अय्यर

आज की दुनिया में, एक स्थिर व सुरक्षित आर्थिक भविष्य सुनिश्चित करना बेहद महत्वपूर्ण है। “एनपीएस वात्सल्य योजना” बच्चों को जन्म से ही एक सेवानिवृत्ति कोष बनाने का अनूठा अवसर प्रदान करते हुए, उन्हें आर्थिक आजादी की राह पर आगे बढ़ाती है।नाबालिगों के लिए लक्षित, यह योजना माता-पिता को बिल्कुल शुरुआत से ही योगदान करने में समर्थ बनाते हुए उनके बच्चे के आर्थिक भविष्य की एक ठोस शुरुआतसुनिश्चित करती है। 18 वर्ष के होने पर, बच्चे निवेश करना जारी रख सकते हैंजिससे उनकी संपत्ति चक्रवृद्धि आधार पर बढ़ सकती है- जो उन्हें एक सफल वयस्क जिंदगीजीने के लिए तैयार करेगी।

भावी पीढ़ी का सशक्तिकरण

‘एनपीएस वात्सल्य’महज निवेश का एक विकल्प ही नहीं, बल्किउससे कहीं बढ़कर है।यह योजना युवाओं को आर्थिक आजादी हासिल करने के लिए सशक्त बनाती है।माता-पिता और अभिभावकों को जल्दी शुरुआत करने के लिए प्रोत्साहित करके, यह योजना भावी पीढ़ियों केआर्थिककल्याणकी दिशा में एक अहम भूमिका निभाती है।यह योजना आर्थिक रूप से एक सुरक्षित राष्ट्र बनाने के सरकार के व्यापक दृष्टिकोणके अनुरूप है।

इस वर्ष के बजट भाषण में इस योजना की घोषणा के दौरान, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने जोर देकर कहा था, *“नाबालिगों के लिए माता-पिता और अभिभावकों द्वारा योगदान की एक योजना, एनपीएस वात्सल्य शुरू की जाएगी। बच्चों के 18 वर्ष के हो जाने पर, यह योजना निर्बाध रूप से एक नियमित एनपीएस खाते में परिवर्तित हो सकती है।”*

एनपीएस वात्सल्य क्या है?

‘एनपीएस वात्सल्य’ नाबालिगों के लिए डिजाइन किया गया राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली (एनपीएस) का एक अनुकूलित संस्करण है।यह योजना माता-पिता या अभिभावकों को नियमित योगदान के साथ अपने बच्चों के लिए एक निवेश खाता खोलने की अनुमति देती है।जैसे ही बच्चा 18 वर्ष का होता है, यह निवेशखाता एक मानक एनपीएस में रूपांतरित हो जाता है। इससे उक्त युवा को अपने निवेश संबंधी निर्णयों के मामले में पूर्ण नियंत्रण मिल जाता है।

18 वर्ष की आयु के बाद के लाभ

एकबारगीबच्चे के वयस्क होतेही, ‘एनपीएस वात्सल्य’ एक नियमित एनपीएस खाते में बदल जाता है।यह सुविधा वित्तीय अनुशासन और दीर्घकालिक संपत्ति निर्माण को बढ़ावा देते हुएनिरंतर योगदान को प्रोत्साहित करती है।यह योजना बचत की आदत पैदा करती है, जो आर्थिक सुरक्षा की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।

यह योजना कैसे काम करती है?

‘एनपीएस वात्सल्य’योजना पारंपरिक एनपीएस के जैसी संरचना का ही अनुसरण करती है।यह योजना स्थिरता एवं विकास की संभावनाओं को सुनिश्चित करते हुए इक्विटी, सरकारी प्रतिभूतियों और कॉरपोरेट बॉन्ड का एक समुचित व संतुलित पोर्टफोलियो मिश्रण प्रदान करती है। इसके पीछे का मुख्य विचार जल्दी निवेश शुरू करना है ताकिदीर्घकालिक अवधि में चक्रवृद्धि आधार पर लाभ मिले।

जीवन के अहम पड़ावों पर बच्चों की सहायता के उद्देश्य से डिजाइन की गई यह योजना माता-पिता को अपने निवेश के मामले में लचीलापन प्रदान करती है, जिससे उन्हें एक विविधतापूर्ण पोर्टफोलियो बनाने में मदद मिलती है।18 वर्ष का होने पर, बच्चा वयस्क एनपीएस की तरह ही यह तय कर सकता है कि उसे कैसे निवेश करना है और अपनी निधि को कैसे और बढ़ाना है।

चक्रवृद्धिकरण (कंपाउंडिंग) की शक्ति: एक परिवर्तनकारी पहलू

‘एनपीएस वात्सल्य’ का सबसे महत्वपूर्ण लाभ चक्रवृद्धिकरण (कंपाउंडिंग) की शक्ति है।जल्दी शुरुआत करने से, ग्राहकों को 18 अतिरिक्त वर्षों की चक्रवृद्धि का लाभ मिलता है। इसके परिणामस्वरूप पर्याप्त धन संचय हो सकता है।

उदाहरण के लिए, यदि किसी बच्चेके माता-पिता उसके जन्म से शुरू करके सालाना 50,000 रुपये का योगदान करते हैं, तो 10 प्रतिशत के वार्षिक रिटर्न के साथ, बच्चे के 18 वर्ष का होने तक धनराशि बढ़कर लगभग 25 लाखरुपये तकपहुंच सकती है। यदि उक्त युवा के कमाई शुरू करने तक, उसके लिए निवेश जारी रहता है, तो उक्त निधि 25 साल की आयु तक बढ़कर 40 लाखरुपये तकपहुंचसकतीहै।यदिवे 60 सालकीआयुतकअपनीआयमें से 50,000 रुपये का वार्षिक योगदान करते हैं, तो यह निधिबढ़कर लगभग 12.5 करोड़रुपये तकपहुंचसकतीहै।‘एनपीएसवात्सल्य’केमाध्यमसे शुरुआती योगदान के बिना, यह आंकड़ा सिर्फ 1.5 करोड़ रुपये तक ही पहुंचेगा–लगभग आठ गुना काअंतर, जो धन सृजन की गति को जबरदस्त तेज करने की इस योजना की क्षमता को दर्शाता है। इस योजना के तहतसभी गणनाएंजीवनकाल में प्रति वर्ष 10 प्रतिशतके सीमित रिटर्न को मानकर की गई हैं।

निवेश संबंधी विकल्प

मानक एनपीएस की तरह ही, ‘एनपीएस वात्सल्य’ इक्विटी, सरकारी प्रतिभूतियों और कॉरपोरेट बॉन्ड का मिश्रण प्रदान करता है। ग्राहक अपने लक्ष्य और जोखिम उठाने की क्षमता के आधार पर ‘ऑटो चॉइस’ (एलसी25, एलसी50 और एलसी75 जैसे जीवन चक्र निधि) या ‘एक्टिव चॉइस’ का विकल्प चुन सकते हैं। एनपीएस की सफलता, ‘एनपीएस वात्सल्य’ के लिए एक ठोस मिसाल कायम करती है।एनपीएस के बारे में यह दावाहै किअगस्त 2024 तक उसके प्रबंधन के तहत13 लाखकरोड़ रुपये की संपत्तिहै।

एनपीएस वात्सल्य क्यों चुनें?

हर माता-पिता अपने बच्चों को आर्थिक एवं भावनात्मक सुरक्षा प्रदान करने कानिरंतर प्रयास करते हैं। ‘एनपीएस वात्सल्य’ योजना एक समर्पित निवेश खाते, जो समय के साथ बढ़ती जाती है, की पेशकश करके इस प्रतिबद्धता को मजबूत करती है। यह योजना न केवल शिक्षा जैसे जीवन के प्रमुख लक्ष्यों के मामले मेंसहायताकरती है, बल्कि अगली पीढ़ी के लिए पर्याप्त धन अर्जित करने के लिए चक्रवृद्धिकरण की शक्ति का भी लाभ प्रदान करती है। इसके अलावा, यह कम आयु में बच्चों में बचत संबंधी अनुशासन पैदा करती है औरउन्हें अपनी वित्तीय योजना बनाने व धन प्रबंधन के प्रति एक स्वस्थ दृष्टिकोण विकसित करने के लिए प्रोत्साहित करती है।

निष्कर्ष

‘एनपीएस वात्सल्य’ एक रचनात्मक आर्थिक उपकरण है, जिसे माता-पिता को अपने बच्चों का सुरक्षित भविष्य सुनिश्चित करने हेतु सशक्त बनाने के उद्देश्य से डिजाइन किया गया है। बचत के लिए एक अनुशासित दृष्टिकोण को बढ़ावा देकर और दीर्घकालिक अवधि में धन सृजन का एक उपाय पेश करके, यह योजना अगली पीढ़ी के लिए निवेश का एक बुद्धिमानी भरा विकल्पप्रदान करती है।

चक्रवृद्धिकरण और शुरुआत से हीआर्थिक योजना बनाने पर अपना ध्यान केन्द्रित करके, ‘एनपीएस वात्सल्य’ यह सुनिश्चित करती है कि बच्चे की आर्थिक सुरक्षा की यात्रा उसके जन्म के साथ ही शुरू हो जाए।


नोट - लेखक श्रीराम अय्यर (एमडी एवं सीईओ) एचडीएफसी पेंशन फंड।


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